मैं हूँ तेरा भौंरा

मैं हूँ तेरा भौंरा और तू हैं मेरी फूल,
देखो मृगनयनी मुझे जाना नही भूल।2
संग जीने मरने की कसम तुझे,
तेरे सिवा कुछ नही सूझे हैं मुझे।
लगन से पहले खिलाये जो भी गुल,
भूल कर उसे मुझे तू कर ले क़बूल।
मैं हूँ तेरा भौंरा और तू हैं मेरी फूल,
देखो मृगनयनी मुझे जाना नही भूल।
आओ मेरे पास करें प्रणय कलह,
हो गई नाराज उसे कर ले सुलह।
प्रीत हैं फ़िज़ाओं में गवाओ न फिजूल,
कहीं ये जवानी नही बनके उड़े धुल।
मैं हूँ तेरा भौंरा और तू हैं मेरी फूल,
देखो मृगनयनी मुझे जाना नही भूल।
यही तो उमर हैं भूलें सभी गम,
आएगी बुढ़ापा कुछ बच्चे देंगे गम।
अभी से क्यों सर में लगाये बनफूल,
कहे कोई चिंता रखें कहे कोई शूल,
जिंदा दिल रहने का यही है वसूल।
मैं हूँ तेरा भौंरा और तू हैं मेरी फूल,
देखो मृगनयनी मुझे जाना नही भूल।2
   
                   अनिल कुमार मंडल
               रेल चालक/ ग़ाज़ियाबाद

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